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अगहन पड़हा जतरा

यह विडियो दिनांक 17 नवम्‍बर 2022 दिन गुरूवार को सम्‍पन्‍न ''अगहन पड्हा जतरा, सिलमटोंगरी'' ग्राम : बुड्का, थाना : सिसई, जिला : गुमला (झारखण्‍ड) का है। 
कहा जाता है यह पड़हा जतरा पूर्व में इसी सिलमटोंगरी स्‍थान में लगता रहा था। परन्‍तु वर्षों पूर्व यहां के जतरा के दिन एक अनहोनी घटना घटी। उस दिन जतरा झंडा दैवी कृपा से उड़कर जैरा टोंगरी पंहूच गया; और उस दिन के बाद लगातार वहां जतरा लगता आ रहा था। 

दैवीय आंधी-तूफान ने तय किया आदिवासियों का जतरा स्‍थल

यह वीडियो गुमला जिला के पड़हा बैठक का है। यह बैठक नौ गांव के पड़हा संगठन के माध्यम से लगाये जा रहे पड़हा जतरा का मसला पर लगातार तीन दिनों तक बुलाया गया। यानी  लगातार 2, 3 एवं 4 नवम्बर तक बैठक करने के बाद जो निर्णय हुआ उसका निष्‍कर्ष है। इस बैठक में निर्णय लिया गया कि इस बार नौ पड़हा का पड़हा जतरा, सिलम टोंगरी, ग्राम बुड़का, थाना सिसई में लगेगा। इसके पूर्व, यह परम्परागत जतरा, जैरा टोंगरी, थाना सिसई में लगता आया था, परन्तु इस जतरा में विगत 4 दशक से विवाद चल रहा था। इस परम्परागत जतरा स्थल में ईसाई समुदाय के लोगों द्वारा गिरजाघर बनाया जा रहा था, जिसे परम्परागत जैरा जतरा समूह के लोगों द्वारा जतर

कुंड़ुख स्‍कूल मीट : 2022 - ओप्‍पा, लोहरदगा, झारखंड

यह विडियो, कुड़ुख लूरगरिया खोड़हा द्वारा आयोजित Annual Inter-School Meet 2022-23 के सांस्कृतिक कार्यक्रम की प्रस्तुति है। यह आयोजन B.K.Indigenous People's Academy, ओप्‍पा, Kuru, लोहरदग्‍गा के कैम्पस में सम्पन्न हुआ है। इसमें वैसे ग़ैर सरकारी स्कूल शामिल हैं जहां कुड़ुख, हिन्दी तथा अंग्रेजी, तीन भाषा विषय की पढ़ाई होती है। इस आयोजन में 6 स्कूल एवं 3 धुमकुड़िया के शिक्षक एवं शिक्षु शामिल हुए। इन शिक्षण शाला में कुड़ुख भाषा की लिपि, तोलोंग सिकि में पढ़ाई होती है। यह आयोजन पूर्ण रूप से सामाजिक सहयोग से सम्पन्न हुआ है।

शिक्षा का अलख : बांस और घास की शुरूआत से फर्स्ट डिविजनर्स तक!

यह विडियो, बुदो उरांव मॉडर्न पब्लिक स्कूल,  महुगांव मोड़- हहरी, थाना-  घाघरा, जिला- गुमला का है।  इस स्‍कूल का संचालन गांव के लोगों द्वारा किया जाता है। इस स्कूल का आरंभ वर्ष 2,014 में हुआ था।   यह एक इंग्लिश मीडियम स्कूल है। यहां हिन्दी तथा अंग्रेजी के साथ तीसरी भाषा विषय के रूप में Kurukh भाषा, तोलोंग सिकि लिपि में पढ़ाई करायी जाती है। इस स्कूल से मैट्रिक परीक्षा 2,022 में पहली बार 8 छात्र शामिल हुए, और सभी 8 छात्र प्रथम श्रेणी से उत्तीर्ण हुए। इस तरह यहां के छात्र हिन्दी, अंग्रेजी एवं  Kurukh, तीनों विषय में पारंगत होकर निकले। इस स्कूल के डायरेक्टर, रामवृक्ष किण्डो जी हैं। उनके द्वारा कम

तोलोंग सिकि में पठन-पाठन की मांग

यह विडियो, दिनांक 20 अक्टुबर 2022 दिन वृहस्पतिवार को अद्दी कुंड़ुख़ चाला धुमकुड़िया पड़हा अखड़ा (अद्दी अखड़ा), रांची के अध्यक्ष श्री जिता उरांव द्वारा जारी किया गया है। इस साक्षात्कार में श्री जिता जी के साथ श्री बिपता उरांव कोषाध्यक्ष, अद्दी अखड़ा उपस्थित थे।
 

कोकराझार (असम) में कुंड़ुख साहित्‍य सभा

यह विडियो असम के कोकराझार में, कुड़ुख़ अर्थात, उरांव साहित्य सभा द्वारा आयोजित खुला अधिवेशन के कार्यक्रम का है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि, बोड़ो टेरिटोरियल रीजन के माननीय मंत्री के स्वागत में प्रस्तुत, किया गया नृत्य है। यह आयोजन दिनांक दो अक्‍टूबर दो हजार बाईस,  दिन रविवार को कुड़ुख़ लिटरेरी सोसायटी आफ इंडिया के संयुक्त तत्वाधान में वार्षिक साहित्य सम्मेलन के समापन में आयोजित किया गया था। इस भाषा साहित्य सम्मेलन में 8 राज्यों के प्रतिनिधि शामिल हुए थे। 

आदिवासियों में मौसम पूर्वानुमान की विधि : Method of weather forecasting in tribal

आदिवासियों में मौसम पूर्वानुमान की विधि : Method of weather forecasting in tribal

गुमला (सिसई) के एक कोटवार गजेेन्‍द्र उरांव बता रहे हैं आदिवासी समाज में अनूठी परंपरा है मौसम पूर्वानुमान की.. 

तोलोंग सिकि सिखाने की एक कला यह भी..

यह विडियो ऐतिहासिक पड़हा जतरा स्थल,मुड़मा, रांची में दिनांक १२मार्च से १४ मार्च २०२२ तक आयोजित कार्यशाला में कुंड़ुख़ भाषा एवं तोलोंग सिकि पढ़ने-पढ़ाने के तरीके को कविता के माध्यम से बतलाते हुए श्रीमती गीता उरांव..

त्रिपुरा में प्रथम आदिवासी महासभा का सम्मेलन संपन्न

दिनांक 28.11.2021 दिन रविवार को त्रिपुरा (भारत) में निवास करने वाले उरांव, मुण्डा, संताल आदि बहुत से आदिवासी छात्रों द्वारा प्रथम आदिवासी महासभा का सम्मेलन किया गया। इस सम्मेालन में भारत सरकार के कैबिनेट मंत्री आदिवासी कार्य मंत्रालय अर्जून मुण्डा, पूर्व कुलपति (डी.एस.पी. मुखर्जी विश्वीविदयालय, रांची) डॉ. सत्य  नारायण मुण्डा, त्रि‍पुरा के आदिवासी कल्याथण मंत्री तथा माननीय विधायक गण एवं अनेक प्रबुद्ध समाजसेवी उपस्थित थे। 

टाटा द्वारा संचालित कुंड़ुख भाषा की कक्षाएं | Classes of Kunrukh language by Tata Steel

टाटा स्टील फाउण्डेलशन‚ जमशेदपुर के सहयोग से कुंड़ुख़ भाषा शिक्षण कार्य : भाषा बचाने की दिशा में स्वागत योग्य कदम || टाटा स्टील फाउण्डेशन‚ जमशेदपुर के सहयोग से आदिवासी उरांव समाज समिति‚ बिरसा नगर‚ जमशेदपुर में कुंड़ुख़ भाषा शिक्षण कार्य किया जा रहा है। इस कार्य का शुभारंभ दिनांक 26.08.2021 को हुआ। यह भाषा शिक्षण कार्य शनिवार को 5 से 7 बजे संध्या तथा रविवार को 10 बजे से दोपहर 1 बजे तक एवं बुधवार को 5 से 7 बजे संध्या संचालित किया जाता है। भाषा शिक्षण के इस कार्य में केजी से पीजी तक के छात्र शामिल होते हैं। लौह नगरी जमशेदपुर जैसे औद्योगिक शहर में उरांव लोगों की कुडुख भाषा बची हुई है तथा इसे बचाते ह